गांधी के विचार विश्व के लिए महत्वपूर्ण होते जा रहे हैं

गांधी चिंतन के प्रख्यात विशेषज्ञ और जाने माने शिक्षाविद नरेश दाधीच की कृति 'गाँधीकथा 500 ट्वीट्स' अद्भुत पुस्तक है। इस संग्रहणीय पुस्तक में लेखक ने इंटरनेट की दुनिया में कम शब्दों के जरिये बड़ी अभिव्यक्ति की संभावनाओं की प्रिंट तक लाने का काम किया है।

लेखक ने इस पुस्तक में 500 ट्वीट्स के जरिये गांधीकथा कहने का सफल प्रयास किया है। सरल शब्दों में गांधी के व्यक्तित्व, कर्म, आचार-विचार और व्यवहार को लेखक ने एक सरल अभियक्ति के जरिये प्रस्तुत किया है। पुस्तक के एक ट्वीट के लेखक लिखते हैं, "गांधी ने दक्षिण अफ्रीका में बहुत कुछ सीखा। 105 पाउंड की साल की फीस कमाने वाले गांधी हर साल 500 पाउंड कमाने लगे, फिर स्वेच्छा से कमाना बंद किया।" एक और ट्वीट में लेखक लिखते हैं, "गांधी स्वराज को राष्ट्र से गाँव तक परिभाषित करते हैं। वह प्रत्येक व्यक्ति का स्वयं पर शासन करने (इन्द्रियों के नियंत्रण) को स्वराज मानते हैं।" 

पुस्तक में गांधी से जुड़ी छोटी-बड़ी घटनाओं को बड़ी ही सहजता से पिरोया गया है। यह पुस्तक लेखक ने इतनी सरल बना दी है कि गांधी को जानना, समझना, उनकी जीवन शिक्षा को ग्रहण करना और उन्हें अपनाना बेहद सहज सा प्रतीत होता है।

अपनी पुस्तक को नई पीढ़ी को समर्पित करते हुए लेखक मानते हैं कि गांधी समय की दृष्टि से हमसे जितना दूर होते जा रहे हैं, उतने ही उनके विचार विश्व के लिए महत्वपूर्ण होते जा रहे हैं। लेखक के मुताबिक आज आधुनिकता, अंधाधुंध आर्थिक विकास, भौतिकवादी उपभोक्ता के बढ़ते आवरण के मध्य वैकल्पिक सभ्यता का दर्शन केवल गांधी के पास है। गांधी के जीवन एवं विचारों के प्रचार-प्रसार का यह अपनी तरह का अनूठा और पहला प्रयास भी है। पुस्तक में गांधी से जुड़ी घटनाओं को ट्वीट्स में पिरोने के साथ ही, तिथि और तथ्यों के साथ गांधी को प्रस्तुत करने का सफल प्रयास लेखक ने किया है।
समीक्षक : डॉ. पुष्पा कुमारी

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